मध्य प्रदेश के राजगढ़ जिले में शादी के नाम पर धोखाधड़ी का एक अनोखा मामला सामने आया है. एक युवक को कुंवारी लड़की से शादी का झांसा देकर 11 लाख रुपए में सौदा किया गया, लेकिन विवाह के बाद पता चला कि दुल्हन पहले से शादीशुदा और तीन बच्चों की मां है. धोखाधड़ी का भंडाफोड़ तब हुआ, जब दुल्हन ने नींद की गोलियां खिलाकर जेवर और नकदी लूटने की योजना बनाई. पुलिस ने इस मामले में पांच लोगों को गिरफ्तार किया है.
दरअसल, लीमाचौहान थाना इलाके के रहने वाले कमल सिंह सोंधिया (22) की शादी सुसनेर की रहने वाली लड़की राधा से तय हुई थी. इस शादी का सौदा 11 लाख रुपए में तय हुआ था. इसमें से 5 लाख 75 हजार रुपए लड़की के पिता को दिए गए. बाकी की रकम 5 लाख 25 हजार रुपए कालू सिंह नाम के दलाल ने रख ली थी.
14 अप्रैल को खिलचीपुर के लिम्बोदा गांव में आयोजित एक सामूहिक विवाह सम्मेलन में राधा की जगह पर पहले से शादीशुदा महिला सलोनी ने दुल्हन बनकर दूल्हे कमल संग सात फेरे ले लिए.
दूसरे दिन जब कमल अपने कमरे में गया, तो उसने सलोनी को फोन पर अपने परिजनों और कमल को नींद की गोलियां खिलाकर जेवर-नकदी लेकर भागने की योजना बनाते सुना. संदेह होने पर कमल ने दुल्हन का घूंघट उठाया, तो पता चला कि वह राधा नहीं, बल्कि सलोनी है, जो पहले से शादीशुदा है.
दूल्हा पक्ष ने लीमाचौहान पुलिस को मामले की सूचना दी. दूल्हे ने बताया कि दुल्हन की जेवर और पैसा लेकर भागने की योजना थी. वह अपने परिवारवालों से कह रही थी कि घरवालों और कमल को नींद की गोलियां खिलाकर जेवर और पैसे लेकर भाग जाएगी.
थाना प्रभारी अनिल राहोरिया ने बताया इसमें मुख्य षड्यंत्रकारी दलाली करने वाले कालू सिंह और बालू सिंह हैं. दोनों ने सुसनेर निवासी जोरावर सिंह और उसकी पत्नी के साथ मिलकर पहले उनकी बेटी राधा को दिखाकर रिश्ता तय कराया. इसके बाद उन्होंने भोपाल निवासी शरीक खान की मदद से तीन बच्चों की मां सलोनी गोंड को दुल्हन के रूप में तैयार करवाया.
इस मामले में पुलिस ने सलोनी गोंड, उसके पति जितेंद्र गोंड, शरीक खान, कालू सिंह और बालू सिंह को हिरासत में लिया है. सभी को कोर्ट में पेश कर इन्हें जेल भेज दिया गया. मामले में फरार सुसनेर निवासी जोरावर सिंह और उसकी पत्नी की तलाश की जा रही है.