तमिलनाडु में स्टालिन सरकार से दो बड़े मंत्री ने इस्तीफा दे दिया है. सेंथिल बालाजी और के पोनमुडी ने मंत्री पद से रविवार शाम को इस्तीफा दे दिया. दोनों को कोर्ट से फटकार लगी थी, जिसके बाद यह फैसला लिया गया है. तमिलनाडु सरकार ने कैबिनेट में बदलाव किया है.
सेंथिल बालाजी ने क्यों दी इस्तीफा?
सेंथिल बालाजी को मनी लॉन्ड्रिंग के एक मामले में सुप्रीम कोर्ट से फटकार लगी थी. सुप्रीम कोर्ट की जस्टिस अभय एस ओका और एजी मसीह की बेंच ने सुनवाई के दौरान सेंथिल से अल्टीमेटम दिया था कि या तो पोस्ट या तो अपनी आजादी का चुनाव करें.
सुप्रीम कोर्ट से मिले अल्टीमेटम के कुछ ही दिन बाद सेंथिल ने यह फैसला लिया है.
बालाजी को जून 2023 में केंद्रीय जांच एजेंसी ईडी द्वारा कैश-फॉर-जॉब्स घोटाले से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में गिरफ्तार किया था. हालांकि, सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें राहत देते हुए सितंबर 2023 में जमानत दे दी थी. लेकिन, कोर्ट ने मंत्रिमंडल में उनके बहाली पर आपत्ति जाहिर की थी. कोर्ट ने आपत्ति के पीछे बालाजी के खिलाफ लगे आरोपों की गंभीर प्रकृति का हवाला दिया था.
के पोनमुडी ने क्यों दी इस्तीफा?
के पोनमुडी का इस्तीफा शैव और वैष्णव धर्म को एक सेक्स वर्कर से जोड़ने वाली विवादास्पद टिप्पणी पर मद्रास हाईकोर्ट के स्वत: संज्ञान लेने के बाद आया है.
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पोनमुडी की इस टिप्पणी की व्यापक तौर पर आलोचना हुई थी. टिप्पणी को लेकर डीएमके पार्टी ने उन्हें महत्वपूर्ण पद से हटा दिया था. हालांकि, विपक्षी दल मंत्रिमंडल से हटाने की मांग कर रहे थे.
तमिलनाडु कैबिनेट में हुआ बड़ा बदलाव
तमिलनाडु सरकार ने कैबिनेट में बदलाव किया है. ट्रांसपोर्ट मंत्री एस.एस. शिवशंकर को बिजली विभाग की जिम्मेदारी दी गई, जो पहले सेंथिल बालाजी के अधीन थी. आवास मंत्री एस. मुथुसामी को एक्साइज और निषेध विभाग सौंपा गया है. आर. एस. राजकन्नप्पन को वनों और खादी का कार्यभार दिया गया है, साथ ही वो दूध और डेयरी विकास भी देखेंगे.
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