पहलगाम में पर्यटकों पर हमला करने वाले आतंकियों पर भड़के असदुद्दीन ओवैसी ने कहा है कि ये कमीने-कुत्ते निर्दोष लोगों को उनके नाम पूछकर, मजहब पूछकर मार रहे थे. हैदराबाद में पत्रकारों से बात करते हुए उन्होंने पहलगाम हमले को मानवता पर हमला बताया और कहा कि आतंकियों ने जानवर से भी बदतर व्यहार किया. आतंकवाद की जड़ निकालनी होगी. इसे जड़ से खत्म करें.
ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) के प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने सुरक्षा व्यवस्था को लेकर भी सवाल उठाए और कहा कि जिम्मेदारी तय की जानी चाहिए. उन्होंने कहा कि पर्यटन स्थल पर कोई पुलिस या केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) का कैंप नहीं था. मौके पर पहुंचने में टीम को 45 मिनट लगे. जिम्मेदारी तय होनी चाहिए.
ओवैसी ने सवालिया लहजे में कहा कि आतंकी यहां तक (पहलगाम तक) कैसे आए. आतंकियों ने किस तरह सीमा पार किया. अगर वे यहां तक पहुंच सकते हैं तो श्रीनगर भी पहुंच सकते हैं. उन्होंने हमले की निंदा की और उम्मीद जताई कि सरकार आतंकी वारदात में जान गंवाने वालों के साथ न्याय करेगी. ओवैसी ने कहा कि आतंकवाद एक विचारधारा है, यह किसी धर्म से संबंधित नहीं है.
उन्होंने कहा कि यह वक्त राजनीतिक मतभेदों का नहीं है. राजनीतिक मतभेद तो चलते रहेंगे. सरकार की ओर से बुलाई गई सर्वदलीय बैठक को लेकर सवाल पर उन्होंने कहा कि गृह मंत्री (अमित शाह) ने मुझसे बात की है और इस बैठक में आने के लिए कहा है.
ओवैसी ने कहा कि अगर फ्लाइट मिल जाती है तो जाऊंगा. एआईएमआईएम प्रमुख ने कहा कि वहां भी वही बातें कहूंगा जो यहां कही हैं और वहां जो कहूंगा, बाहर आकर नहीं कहूंगा. इससे पहले ओवैसी ने सर्वदलीय बैठक में नहीं बुलाए जाने को लेकर नाराजगी जाहिर की थी. उन्होंने पीएम मोदी से यह अपील की थी कि सर्वदलीय बैठक में सभी दलों को बुलाया जाना चाहिए.
सर्वदलीय बैठक पर क्या कहा था
एआईएमआईएम प्रमुख ओवैसी ने कहा था कि पहलगाम की घटना को लेकर होने वाली सर्वदलीय बैठक के संबंध में 23 अप्रैल की रात किरेन रिजिजू से बात की थी. रिजिजू ने कहा कि सिर्फ उन पार्टियों को ही बुलाने की सोच रहे हैं, जिनके पांच या इससे ज्यादा सांसद हैं.











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